जारी परियोजनाएं



वन्यजीव विज्ञान भारत में एक उभरता हुआ विषय है। यह विषय प्रकृति में अनिवार्य रूप से तथा विविध विषयक, क्षेत्र आधारित है। सम्पूर्ण देश में वनों के द्वारा मानवीय प्राकृतिकवास का अन्तर्सम्बन्ध तथा स्थानीय आवश्यकताओं का उन पर पड़ने वाले दबावों के साथ-साथ बाजार की अर्थव्यवस्था के घातक दबाव आदि के कारण इस विज्ञान में, संरक्षित क्षेत्रों के सन्दर्भ में एवं संरक्षित क्षेत्रों के बाहर के वन्यजीवों के सन्दर्भ में एक महत्वपूर्ण एवं नवीन आयामों को जोड़ते हैं।

विभिन्न उद्देश्यों में से भावसं का एक  उद्देश्य वैज्ञानिक सूचनाओं की उत्पत्ति तथा जीवविज्ञानियों, वन्यजीव पारिवैज्ञानिक, सामाजिक-अर्थशास्त्री तथा प्रबंधकों का प्रशिक्षित मानवीय आधार तैयार करने के द्वारा सम्पूर्ण देश में संरक्षण प्रयासों को प्रबल बनाना है।

इस दिशा में संस्थान का वन्यजीव संरक्षण के विभिन्न पहलुओं, जैसे- पारिस्थितिकीय, जीवविज्ञान, प्रबंधन तथा सामाजों-आर्थिक पहलुओं के गहन अध्ययन का कार्य है। भावसं का शोध कार्य, शोध प्रवृत्तियों, प्रबंधन आवश्यकताओं तथा वर्तमान क्षेत्रीय परिस्थितियों को सभी प्रकार से पंक्तिबद्ध रखने में सहायक है। इससे यह सुनिश्चित है कि संस्थान के अपने निवेशों एवं अध्यापन के तरीकों में लगातार अद्यतन किया जाता है।

चल रहे अनुसंधान परियोजनाओं की विस्तृत सूची (12 अप्रैल, 2014 के अनुसार)   (आकार 288kb)